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सीधा सवाल। चित्तौड़गढ़। विशेष पॉक्सो कोर्ट क्रमांक-1 ने एक नाबालिग के अपहरण और दुष्कर्म के मामले में अभियुक्त प्रकाश उर्फ चंद्रप्रकाश पिता बाबूलाल निवासी मानकपुरा की झोपड़िया विजयपुर बेडा दोषी करार देते हुए 20 साल के कठोर कारावास और 65 हजार रुपये के जुर्माने की सजा सुनाई है। इसके अतिरिक्त, न्यायालय ने पीड़िता को पीड़ित प्रतिकर स्कीम के तहत 2 लाख रुपये का मुआवजा देने का भी आदेश दिया है। विशिष्ट लोक अभियोजक गोपाललाल जाट ने बताया कि पीड़िता के परिजनों ने 4 अक्टूबर 2023 को एक रिपोर्ट दर्ज कराई थी, जिसमें आरोप लगाया गया था कि अभियुक्त प्रकाश उनकी नाबालिग बेटी को जबरदस्ती ले गया और उसके साथ दुष्कर्म किया। पुलिस ने इस रिपोर्ट के आधार पर मामला दर्ज कर गहन अनुसंधान शुरू किया। जांच के बाद अभियुक्त को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश कर संपूर्ण अनुसंधान के बाद चार्जशीट प्रस्तुत की गई। अभियोजन पक्ष की ओर से 11 गवाहो व 24 दस्तावेज़ प्रस्तुत किए गए। दोनों पक्षों की बहस सुनने के बाद न्यायधीश लता गौड़ ने अभियुक्त को विभिन्न धाराओं में दोषी पाया। न्यायालय ने आईपीसी की धारा 363 के तहत तीन साल का कठोर कारावास और 5 हजार रुपये का जुर्माना, धारा 366 के तहत सात साल का कठोर कारावास और 10 हजार रुपये का जुर्माना तथा पॉक्सो एक्ट की धारा 5 (एल)/6 के तहत 20 साल का कठोर कारावास और 50 हजार रुपये के जुर्माने की सजा सुनाई है। इस प्रकार, अभियुक्त पर कुल 65 हजार रुपये का अर्थदंड अधिरोपित किया गया है।