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सीधा सवाल। चित्तौड़गढ़। जिला कलक्टर एवं नगर विकास न्यास (यूआईटी) के प्रशासक आलोक रंजन ने बुधवार को यूआईटी कार्यालय में सचिव एवं संबंधित अधिकारियों के साथ बैठक कर शहर में चल रहे विकास एवं निर्माण कार्यों की समीक्षा की। जिला कलक्टर ने निर्देश दिए कि टाउनशिप पॉलिसी के तहत शहर के मास्टर प्लान को विस्तारित किया जाए और शहर के भीतर खाली पड़ी भूमि पर वर्टिकल टॉवर प्लान तैयार कर विकास किया जाए, ताकि चित्तौड़गढ़ का विकास बड़े शहरों की तर्ज पर हो सके। उन्होंने लंबित पट्टों के जारी करने, आचार संहिता के दौरान निरस्त पट्टों की स्थिति, तथा अतिक्रमित भूमि को यूआईटी के नाम हस्तांतरण की प्रगति की समीक्षा की। विवाह का नंद विहार नई योजना के अंतर्गत होने वाली रेजिडेंशियल एवं कमर्शियल गतिविधियों को टाउन प्लान पॉलिसी के तहत विकसित करने के भी निर्देश दिए। जिला कलक्टर ने स्ट्रीट लाइट, सड़क निर्माण, इंटरलॉकिंग, सीवर, ग्रेवल सड़क, पार्किंग आदि कार्यों के रेट कॉन्ट्रैक्ट व टेंडर प्रक्रिया शीघ्र पूर्ण करने के निर्देश दिए। किले, फंसा डिलाइट और मोर नगरी क्षेत्र को आकर्षक बनाने के लिए फसाड लाइटिंग व सोलर लाइटिंग लगाने के निर्देश भी दिए। उन्होंने सोलर पैनल लगाने के लिए विस्तृत प्रस्ताव तैयार करने को कहा, जिससे विद्युत खर्च में कमी लाई जा सके। बैठक में राइजिंग राजस्थान के तहत हुए विभिन्न एमओयू की प्रगति की जानकारी ली गई। राजस्थान संपर्क पोर्टल पर दर्ज प्रकरणों की भी समीक्षा की गई और सभी मामलों का समयबद्ध निस्तारण सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए।
जिला कलक्टर ने सरकारी एवं चारागाह भूमि पर हुए अतिक्रमणों की नियमित जांच और आवश्यक कार्रवाई करने के निर्देश दिए।
जिला कलक्टर ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि हर घर तिरंगा अभियान के तहत किसी एक कच्ची बस्ती का चयन कर वहां निशुल्क तिरंगे वितरित किए जाएं। साथ ही, जरूरतमंद लोगों को भी तिरंगा उपलब्ध करवाने के लिए कहा। बैठक में यूआईटी सचिव सहित सभी संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।