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चित्तौड़गढ़। चित्तौड़गढ़-प्रतापगढ़ दुग्ध उत्पादक संघ (चित्तौड़ डेयरी) के बोर्ड को भंग कर दिया है। इस संबंध में कार्यालय रजिस्ट्रार सहकारी समितियां ने शुक्रवार को ही आदेश जारी किया है। इसमें संचालक मंडल बोर्ड के अल्पमत में होने तथा कोरम के अभाव में बैठक नहीं होने को कारण मानते हुवे बोर्ड को भंग करने का आदेश दिया है। वहीं चित्तौड़ डेयरी में प्रशासक के तौर पर जिला कलक्टर आलोक रंजन को लगाने का भी आदेश दिया है। बोर्ड भंग होने के साथ ही चित्तौड़ डेयरी के चेयरमैन बद्रीलाल जाट जगपुरा भी अध्यक्ष पद से हट गए हैं।
चित्तौड़गढ़-प्रतापगढ़ दुग्ध उत्पादन संघ के संचालक मंडल के अल्पमत में होने पर राज्य सरकार ने संघ को भंग कर दिया। इसमें जिला कलेक्टर को प्रशासक नियुक्त कर दिया है।
राजस्थान सहकारी समिति पंजीयक श्रीमती मंजू राजपाल ने एक आदेश जारी कर विवादों में घिरे चित्तौड़गढ़ -प्रतापगढ दुग्ध उत्पादन सहकारी संघ के संचालक मंडल को भंग कर पदेन जिला कलेक्टर को प्रशासक नियुक्त कर दिया है। आदेश में लिखा गया है कि संघ संचालक मंडल में 12 निर्वाचित व 4 मनोनीत सदस्य हैं, जिनमें से आठ निर्वाचित सदस्य तकनीकी कारणों से सदस्य नहीं रहे हैं। इससे बैठक का कोरम पूर्ण नहीं होने के बावजूद अध्यक्ष बद्रीलाल जाट जगपुरा मनमाने निर्णय ले रहे थे, जिसकी चार निर्वाचित सदस्यों ने उन्हें शिकायत की थी। शिकायत की जांच उप पंजीयक, उदयपुर से करवाई और जांच रिपोर्ट में शिकायत सही पाए जाने पर अध्यक्ष को पूर्व में अपना पक्ष रखने के लिए नोटिस जारी किया था। लेकिन उनके अधिवक्ता उपस्थित रहे थे। उन्हें अंतिम अवसर देते हुए पुनः 25 सितंबर को सुनवाई रखी गई। लेकिन फिर भी उपस्थित नहीं हुए। इस पर आज आदेश जारी कर संघ के संचालक मंडल को भंग कर पदेन जिला कलेक्टर को प्रशासक नियुक्त कर दिया गया है।