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भक्त ने अपना नाम भी गुप्त रखा
सीधा सवाल। चित्तौड़गढ़। विश्व विख्यात चित्तौड़ दुर्ग स्थित कालिका माता मंदिर में एक भक्त ने गर्भगृह में चांदी से बनी पिछवाई लगवाई है। भक्त ने अपना नाम गुप्त रखा। लगभग एक साल पहले भक्त अपने कारीगरों के साथ यहां मंदिर आया था और दीवार का नाप लेकर गया था। शनिवार को एक बार फिर भक्त अपने कारीगरों के साथ चित्तौड़ दुर्ग स्थित कालिका माता मंदिर पहुंचा, जहां मंदिर के गर्भ गृह की दीवार पर पिछवाई लगवाई। मंदिर में लगाई गई पिछवाई सभी के आकर्षण और चर्चा का केंद्र रही। जिसे भी इसकी जानकारी मिली वे दर्शनार्थ मंदिर पहुंच रहे हैं। भक्तों में खुशी का माहौल देखने को मिला है।
जानकारी में सामने आया कि शनिवार को मंदिर में प्रतिमाओं के पीछे पिछवाई का कार्य हुआ। नियमित दर्शनार्थ आने वाले श्रद्धालुओं को भी इसकी जानकारी रविवार को मिल पाई। सबसे बड़ी बात यह रही कि भक्त ने अपना नाम गुप्त रखने को कहा है। यह भक्त चित्तौड़गढ़ जिले से बाहर का रहने वाला बताया जा रहा है। इस संबंध में कालिका माता मंदिर के महंत रामनारायण पुरी ने बताया कि करीब एक साल पहले एक भक्त मंदिर दर्शन करने आया था, जिसने मंदिर में चांदी की पिछवई लगाने की इच्छा जताई थी। इस पर उसे अनुमति दे दी थी। भक्त अपने साथ में कारीगर को भी लेकर आया था, जो की नाप लेकर चले गए। करीब एक साल से ज्यादा समय तक कोई नहीं आया तो सभी ने सोचा कि कोई नहीं आएगा। वहीं शनिवार को भक्त चांदी से बनाई पिछवाई लेकर कारीगर के साथ पहुंचा। यहां कारीगर ने मंदिर में पिछवई लगाने का कार्य किया।
करीब 15 किलो चांदी का हुआ है उपयोग
मंदिर के महंत ने बताया कि पिछवई को बनाने में करीब 15 किलो चांदी लगी होगी। भक्त ने अपना नाम पता देने से इनकार कर दिया। संभवतया भक्त की मन्नत पूरी होने पर उसने यह कार्य कराया। महंत ने बताया कि यह मंदिर करीब 800 साल पुराना है। कालिका माता मंदिर चित्तौड़गढ़ जिले ही नहीं देश भर के लोगों में आस्था का केंद्र है।